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पिछले साल यानी वित्त वर्ष 2018-19 में दूसरी तिमाही में जीडीपी 7 फीसदी पर थी। वहीं ग्रॉस वैल्यू जीएवी पिछले साल इस तिमाही में 31.79 लाख करोड़ के मुकाबले वित्त वर्ष 2019-20 में 33.16 लाख करोड़ हो गई है। इसके साथ ही जीडीपी 6 साल के निचले स्तर पर पहुंच गई है।
ग्रॉस वैल्यू एडेड, जो जीडीपी और टैक्स का अंतर होता है, इसमें जुलाई सितंबर 2019 तिमाही में 4.3 फीसदी का ग्रोथ हुआ है, जो पिछले तिमाही में 4.9 फीसदी और बीते वित्त वर्ष इस तिमाही में 6.9 फीसदी था। वित्त वर्ष 2019-20 की दूसरी तिमाही में कृषि क्षेत्र में 2.1 फीसदी की वृद्धि रही है।
जबकि मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में -1 फीसदी की वृद्धि दर्ज हुई है। इलेक्ट्रिसिटी, गैस, वॉटर सप्लाई और अन्य यूटिलिटी सर्विस में दूसरी तिमाही में 3.6 फीसदी की वृद्धि रही है। कंस्ट्रक्शन सेक्टर की विकार दर 3.3 फीसदी रह गई है।
इससे पहले अप्रैल जून तिमाही में जीडीपी 5 फीसदी पर आ गई थी, जो पिछले 6 साल में सबसे निचला स्तर था। वित्त वर्ष 2020 की पहली तिमाही में जीडीपी 5 फीसदी के स्तर पर थी, जो वित्त वर्ष 2013 की चौथी तिमाही के बाद से किसी भी तिमाही में सबसे कम ग्रोथ रेट रही है। पिछले साल अप्रैल जून तिमाही में जीडीपी 8 फीसदी रही थी।
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