NRC-NPR वापस ले लें, मेरे पूरे परिवार के पास नहीं है जन्म प्रमाण पत्र: केजरीवाल

केजरीवाल
आर.बी.एल.निगम, वरिष्ठ पत्रकार 
नागरिकता संशोधक कानून में हिन्दुत्व, मोदी, योगी और अमित का विरोध करने के साथ-साथ NPR और NRC का भी विरोध करने वालों को दिल्ली मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल ने बल ही नहीं बल्कि कहा जाए फूस में चिंगारी लगा दी है। जबकि गृहमंत्री अमित शाह ने मार्च 12 को राज्यसभा में स्पष्ट रूप से NPR और NRC के बारे में जनता विशेषकर मुस्लिम समाज को भ्रमित न करने के लिए निवेदन किया। लेकिन केजरीवाल अगले ही दिन वही काम कर अमित के निवेदन को नज़रअंदाज़ कर, आग में घी डालने का काम कर रहे हैं। 
दिल्ली विधानसभा ने NPR और NRC के खिलाफ शुक्रवार (मार्च 13, 2020) को प्रस्ताव पारित किया। NPR और NRC पर चर्चा के लिए बुलाए गए एक दिवसीय विशेष सत्र में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने केंद्र सरकार से इन्हें वापस लेने की भी अपील की।
अरविंद केजरीवाल ने प्रस्ताव पर बहस के दौरान कहा कि उनके परिवार और पूरी कैबिनेट के पास जन्म प्रमाण पत्र नहीं हैं तो क्या सभी को NPR के तहत डिटेंशन सेंटर भेज दिया जाएगा? उन्होंने कहा कि ये डर सबको सता रहा है।

वहीं भाजपा नेता कपिल मिश्रा ने केजरीवाल पर एक बार फिर झूठ बोलने का आरोप लगाया है। उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा, “चुनाव जीतते ही झूठ शुरू। केजरीवाल जी का कहना है, उनके, उनकी वाईफ के, पूरी कैबिनेट के पास जन्म प्रमाण पत्र नहीं। मतलब कोई भी दसवीं पास नही हैं? सब नौवीं फेल हैं? बांग्लादेशी और रोहिंग्या घुसपैठियों को बचाने के लिए कुछ भी करेंगे ये लोग। CAA और NPR तो लागू होकर रहेगा।”
एक और ट्वीट करते हुए कपिल मिश्रा ने लिखा कि केजरीवाल में हिम्मत थी तो चुनाव घोषणापत्र में लिखते कि CAA, NPR, NRC का विरोध करेंगे। उन्होंने कहा कि केजरीवाल दिल्ली की जनता की पीठ पे खंजर घोप रहे हैं।
केजरीवाल ने कहा कि दिल्ली विधानसभा में 70 विधायक हैं, लेकिन सिर्फ 9 विधायकों ने कहा की उनके पास जन्म प्रमाण पत्र है। उन्होंने पूछा कि 90% लोगों के पास ये साबित करने के लिए कोई सरकारी जन्म प्रमाण पत्र नहीं है तो क्या सबको डिटेंशन सेंटर भेजा जाएगा?

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