राहुल गांधी प्रधानमंत्री मोदी के लिए निकृष्टतम भाषा का उपयोग कर रहे है। “नरेंद्र मोदी कांपने लग गया; उसकी आदत है जैसे ही उसको डर लगता है, वो झूठ बोलना शुरू कर देता है; कभी पाकिस्तान की बात करता है, कभी चीन की बात करता है; एक के बाद एक झूठ बोलता है मगर इस बार नहीं निकल पाएगा”।
ऐसी घटिया भाषा राहुल के साथ साथ उसकी पार्टी के लोग वर्षों से बोल रहे हैं मोदी के लिए लेकिन मोदी कहते हैं, वो “नामदार” हैं, हम तो “कामदार” और सदियों से नामदार कामदारों को गाली देते आएं हैं, इसलिए शहजादे की बात का बुरा मत मानो, उसे बोलने दो।
लेखक चर्चित यूटूबर |
SC/ST के लिए बहुत गीत गाते फिर रहे हैं “जनाब”। लेकिन उनमे भी कांग्रेस की 1989 से लेकर 2019 तक सांसदों की संख्या घटते बढ़ते बुरी हालत हुई है। इस कालखंड में कांग्रेस के SC/ST सांसदों की अधिकतम संख्या 1991 में 117 में से 58 थी जो 2014 में मोदी की भयंकर जीत के साथ कुल 131 सीट में से मात्र 12 रह गई जिसमें 7 SC थे और 5 ST और 2019 में केवल 9 रह गए, 5 SC और 4 ST।
भाजपा को राहुल SC/ST की जनगणना कराने के लिए ललकार रहा है जिसकी 2014 में 67 सीट थी ( 40 SC और 27 ST) और 2019 में 77 सीट थी (46 SC और 31ST)। लिहाजा राहुल गांधी गले में ढोल उठाए बजा रहा है जिसके कोई मायने नहीं है।
अभी कुछ दिन पहले “भारत तोड़ो यात्रा” में साथ लगा पूर्व रघुराम राजन देश की आर्थिक स्तिथि और GDP के बढ़ने पर मजाक उड़ा रहे थे और अब राजन के समय के वित्तमंत्री पी चिदंबरम कह रहे हैं कि “प्रधानमंत्री कोई भी हो भारत तीसरी अर्थव्यवस्था बनकर रहेगा। मोदी इस सम्भावना को अपनी गारंटी बता रहे हैं जो भारतीय बाजार के विशाल आकर को देखते हुए होनी ही है, क्योंकि उन्हें बातें बढ़ा चढ़ा कर करने की आदत है। GDP की जगह प्रति व्यक्ति आय समृद्धि का असली पैमाना है जिसमें भारत वैश्विक पैमाने पर बहुत नीचे है”।
देश का X-Ray कर लोगों का धन हड़प कर सबके रोजगार बंद करके और उद्योगों को लूट कर बंद करने से कोई भी पीएम अर्थव्यस्था को 3 नंबर नहीं 20 नंबर पर ले जा सकता है।
इससे घटिया बयान अपने आपको अर्थशास्त्र का खलीफा समझने वाला का हो नहीं सकता। पीसी को याद नहीं कि वो भारत की आर्थिक स्थिति को 10 नंबर पर छोड़ कर गए थे और भारत First 5 Fragile Economies में एक था, जबकि भारतीय बाजार का आकर उनके समय में भी बहुत बड़ा था लेकिन नीतिविहीन थी सरकार।
नरेंद्र मोदी के कार्यकाल में भारत की economy 5वें नंबर पर पहुंच गई है और आज नरेंद्र मोदी की आर्थिक नीतियों के कारण ही भारतीय बाजार इतना बड़ा आकर ले सका है लेकिन यदि कांग्रेस की सरकार 2014 से अभी तक जारी रहती तो भारतीय आर्थिक रैंक को 10वें नंबर से 20 पर ले जाती और आज भी अगर वह सत्ता में आ जाए (जो होगा नहीं) तो आर्थिक रैंक को अगले 5 साल में एक बार फिर 5वें स्थान से 10 नंबर पर ले जा सकती है।
अब GDP बढ़ रही है तो प्रति व्यक्ति आय को समृद्धि का पैमाना बता रहे हैं चिदंबरम लेकिन उन्हें पता नहीं प्रति व्यक्ति आय भी पिछले 10 साल में दोगुनी हुई है। इनका वही हिसाब है हर तरह खोट निकालना है। बहु आटा माढ़ते हुए नहीं हिलती तो क्यों नहीं हिलती और हिलती है तो क्यों हिलती है, ऐसी सास बन गई है कांग्रेस।
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