मोदी सरकार द्वारा तीन तलाक, जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370, अयोध्या में राममन्दिर, और नागरिक संशोधक कानून बनने के बाद से ही कांग्रेस में ही विचारों पर मतभेद के समाचार आते रहे हैं। लेकिन अब तीन बार असम के मुख्यमंत्री रहे वरिष्ठ कांग्रेस नेता तरुण गोगोई का अपनी ही पार्टी से भरोसा उठता दिख रहा है। उनकी मानें तो असम की सत्ता से भाजपा को बेदखल करने के लिए राज्य में एक वैकल्पिक राजनीतिक दल की जरूरत है। गोगोई ने शुक्रवार (जनवरी 10, 2019) को कहा कि भाजपा को असम से बाहर करने के लिए वैकल्पिक राजनीतिक पार्टी समय की आवश्यकता हो गई है। ऐसा वह निजी हितों को साधने के लिए नहीं कह रहे। नया राजनीतिक दल उनकी पार्टी को भी कुछ नुकसान पहुँचा सकता है। लेकिन, असम के लोगों की हितों की रक्षा के लिए यह जरूरी है।
बीजेपी को राज्य से बाहर करने के लिए एक नए राजनीतिक दल के आह्वान के बाद ऑल असम स्टूडेंट्स यूनियन (AASU) ने हाल ही में इस तरह का प्रस्ताव रखा है। इस बीच असम के पूर्व मुख्यमंत्री तरुण गोगोई की सुरक्षा में कटौती की गई है। उनके सुरक्षा कवर को Z प्लस से घटाकर Z कर दिया गया है। मुख्यमंत्री रहते गोगोई को एनएसजी की सुरक्षा मिली हुई थी। लेकिन 2016 में जब बीजेपी असम में सत्ता में आई तो उनका एनएसजी कवर हटा लिया गया। इसके बाद उन्हें जेड प्लस सुरक्षा दी गई थी, लेकिन अब उनकी जेड प्लस सुरक्षा भी हटा ली गई है।
तरुण गोगोई ने इससे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भारत का “हिंदू जिन्ना” करार देते हुए उन पर पाकिस्तान के “दो-राष्ट्र सिद्धांत” का पालन करने का आरोप लगाया था। प्रधानमंत्री मोदी पर बड़ा हमला करते हुए गोगोई ने कहा था, “प्रधानमंत्री हम (कांग्रेस) पर आरोप लगाते हैं कि हम पाकिस्तान की भाषा में बात कर रहे हैं, लेकिन यही वो शख्स हैं, जिन्होंने खुद को पड़ोसी देश के स्तर तक गिरा लिया है। वह मोहम्मद अली जिन्ना के दो-राष्ट्र सिद्धांत का पालन कर रहे है और भारत के हिंदू जिन्ना के रूप में उभरे हैं।”
अवलोकन करें:-
गोगोई ने मोदी सरकार के तरीकों को अहंकारी करार देते हुए दावा किया कि यह नए नागरिकता कानून को लागू करने के लिए किसी भी हद तक जाएँगे। उन्होंने कहा कि असम समेत देश भर के लोगों ने संशोधित नागरिकता कानून का विरोध किया है, क्योंकि मोदी के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार लोगों को धर्म, भाषा और संस्कृति के आधार पर बाँटने की कोशिश कर रही है।
बीजेपी को राज्य से बाहर करने के लिए एक नए राजनीतिक दल के आह्वान के बाद ऑल असम स्टूडेंट्स यूनियन (AASU) ने हाल ही में इस तरह का प्रस्ताव रखा है। इस बीच असम के पूर्व मुख्यमंत्री तरुण गोगोई की सुरक्षा में कटौती की गई है। उनके सुरक्षा कवर को Z प्लस से घटाकर Z कर दिया गया है। मुख्यमंत्री रहते गोगोई को एनएसजी की सुरक्षा मिली हुई थी। लेकिन 2016 में जब बीजेपी असम में सत्ता में आई तो उनका एनएसजी कवर हटा लिया गया। इसके बाद उन्हें जेड प्लस सुरक्षा दी गई थी, लेकिन अब उनकी जेड प्लस सुरक्षा भी हटा ली गई है।
Alternative political party is need of the hour: Tarun Gogoi— Times of India (@timesofindia) January 11, 2020
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तरुण गोगोई ने इससे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भारत का “हिंदू जिन्ना” करार देते हुए उन पर पाकिस्तान के “दो-राष्ट्र सिद्धांत” का पालन करने का आरोप लगाया था। प्रधानमंत्री मोदी पर बड़ा हमला करते हुए गोगोई ने कहा था, “प्रधानमंत्री हम (कांग्रेस) पर आरोप लगाते हैं कि हम पाकिस्तान की भाषा में बात कर रहे हैं, लेकिन यही वो शख्स हैं, जिन्होंने खुद को पड़ोसी देश के स्तर तक गिरा लिया है। वह मोहम्मद अली जिन्ना के दो-राष्ट्र सिद्धांत का पालन कर रहे है और भारत के हिंदू जिन्ना के रूप में उभरे हैं।”
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गोगोई ने मोदी सरकार के तरीकों को अहंकारी करार देते हुए दावा किया कि यह नए नागरिकता कानून को लागू करने के लिए किसी भी हद तक जाएँगे। उन्होंने कहा कि असम समेत देश भर के लोगों ने संशोधित नागरिकता कानून का विरोध किया है, क्योंकि मोदी के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार लोगों को धर्म, भाषा और संस्कृति के आधार पर बाँटने की कोशिश कर रही है।
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