दिल्ली हिन्दू विरोधी दंगे: हथियार के साथ एक और हत्यारा मुस्तकीम सैफी गिरफ्तार

राहुल सोलंकी
राहुल सोलंकी (साभार: NDTV)
दिल्ली पुलिस की अपराध शाखा ने हिन्दू विरोधी दंगे के दौरान शिव विहार में राहुल सोलंकी की हत्या के आरोप में मुस्तकीम सैफी को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने उसके पास से हथियार भी बरामद किए हैं।
इससे पहले दिल्ली पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज, गवाहों के बयान और रिकॉर्ड के आधार पर राहुल सोलंकी की हत्या के आरोप में सात मुस्लिम युवकों को आरोपित ठहराया था। अब पुलिस ने मुस्तकीम सैफी को गिरफ्तार किया है।
राहुल सोलंकी की फरवरी में दिल्ली के शिव विहार में हिन्दू विरोधी दंगों के दौरान मुस्लिम भीड़ ने हत्या कर दी थी। जून में, दिल्ली पुलिस की अपराध शाखा ने 27 वर्षीय राहुल सोलंकी की हत्या मामले में आरोप-पत्र दायर किया था।
आरोप-पत्र में कहा गया था कि 24 फरवरी को शाम 5 बजे के आसपास शिव विहार के पास हुए सांप्रदायिक दंगों के दौरान सोलंकी की दयालपुर इलाके में उनके घर के पास हत्या कर दी गई थी।
सैफी के गिरफ्तार होने पर छद्दम सेक्युलरिस्ट्स Victim Card लेकर बाहर आएंगे और गरीब, मजलूम, असहाय, शांतिप्रिय और भटका हुआ सिद्ध करने की नौटंकी करते नज़र आएंगे। 
गरीब, मजलूम, असहाय, डरे हुए और शांतिप्रिय के पास से हथियार बरामद होने पर :-
शिव विहार निवासी राहुल सोलंकी गाजियाबाद के एक निजी कॉलेज से एलएलबी कर रहे थे। वह दूध लेने के लिए अपने घर से निकले थे, तभी दंगाइयों ने उनके गले के पास दाहिने कंधे में गोली मार दी थी। जब दंगाइयों ने गोली मारकर उनकी हत्या कर दी, उस समय वह राजधानी स्कूल से सटे पाल डेयरी गली के पास खड़े थे।
इससे पहले, आरोपितों में से एक, सलमान ने पुलिस को बताया था कि वह राहुल को अच्छी तरह से जानता था क्योंकि राहुल का भाई रोहित उसके ग्रुप के साथ क्रिकेट खेलता था। सलमान ने पुलिस से कहा था कि वह हिंसक मुस्लिम भीड़ में शामिल हो गया और दिल्ली की सड़कों पर ‘इस्लाम को बचाने के लिए’ आतंक फैलाया। 24 फरवरी को मुस्लिम भीड़ ने एक और हिन्दू युवक दिलबर सिंह नेगी की अनिल स्वीट्स के पास जलाकर हत्या कर दी थी।
शिव विहार : हिन्दू विरोधी दंगों का सबसे अधिक प्रभावित 
शिव विहार ऐसा इलाक़ा था जहाँ के हालात दंगों के वक्त बदतर  थे। शिव विहार तिराहा तीन पुलिस थानों के अंतर्गत आता है। करावल नगर, दयालपुर और गोकुलपुरी। शिव विहार तिराहे की एक सड़क मुस्तफाबाद की तरफ जाती है जो कि मुस्लिम बाहुल्य क्षेत्र है। दूसरी सड़क शिव विहार और बाबू नगर की तरफ जाती है, जहाँ मिली-जुली आबादी रहती है। जिन क्षेत्रों में हिन्दू आबादी ज़्यादा है, वहाँ भी मुस्लिमों के घर बने हुए हैं। शिव विहार तिराहे पर हुई हिंसा हिन्दुओं के लिए भयावह थी।
24 फरवरी की दोपहर में जिस पहले व्यक्ति का शव मिला था, वह था दिलबर नेगी। उसके हाथ-पैर काट दिए गए थे और राजधानी स्कूल के सामने स्थित अनिल स्वीट्स में उसे जला दिया गया था।  
हिंसा के दौरान भयावह नज़ारा सामने आया शिव विहार चौराहे स्थित राजधानी स्कूल की छत से। इस स्कूल के मालिक का नाम है फैजल फारुख। इस स्कूल की छत से इस्लामी भीड़ ने गोलियाँ चलाई, एसिड की बोतलें फेंकी और पत्थर भी चलाए। दिल्ली के हिन्दू विरोधी दंगों के मामले में जो पहली चार्जशीट दायर की गई थी, उसका संबंध राजधानी स्कूल में हुई हिंसा की घटनाओं और 24-25 फरवरी के दिन हुई घटनाओं से भी था। इस मामले में यतेन्द्र शर्मा ने शिकायत दर्ज कराई थी जो की डीआरपी स्कूल के मालिक हैं। डीआरपी स्कूल, राजधानी स्कूल के ठीक बगल में स्थित था। 

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