
क्या है वजह
पाकिस्तानी रुपया हमेशा से ही भारतीय रुपये से कमजोर रहा है, लेकिन हाल के वर्षों में भारतीय रुपये के मुकाबले पाकिस्तानी रुपया काफी अधिक कमजोर हो गया है। गौरतलब है कि वर्ष 2007 में एक डॉलर लगभग 65 पाकिस्तानी रुपये के बराबर होता था, दिसंबर 2017 तक यह 106 रुपये प्रति डॉलर था आज यह 139 रुपये प्रति डॉलर पर पहुंच गया है। पाकिस्तानी रुपये की यह बदहाली पाकिस्तान के बढ़ते व्यापार व भुगतान शेष घाटे के कारण हुई है।
पाकिस्तान ने IMF से मांगा 8 अरब डॉलर का कर्ज
साल 2018 अक्टूबर तक पाकिस्तान में महंगाई की दर 7.6 प्रतिशत तक पहुंच चुकी थी । आइएमएफ की मानें, तो जून तक महंगाई की यह दर 14 प्रतिशत तक पहुंच सकती है। बढ़ती महंगाई और डॉलर के मुकाबले पाकिस्तानी मुद्रा कम होने से इसका असर देश के सर्राफा बाजार भी देखने को मिल रहा है।
अवलोकन करें:-
पाकिस्तान में सोना-चांदी की कीमतें इतनी ऊंची है कि आप कल्पना भी नहीं कर सकते। पाकिस्तान ने अपना आर्थिक संकट टालने के लिए आईएमएफ से 8 अरब डॉलर का कर्ज मांगा है। ऋण के जाल में बुरी तरह उलझ चुकी पाकिस्तान सरकार को अपनी अर्थव्यवस्था पटरी पर लाने के लिए तत्काल आर्थिक मदद की जरूरत है।
अवलोकन करें:-
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