कपिल सिब्बल पर फूटा बरखा का गुस्सा

Barkha-Kapil
आर.बी.एल.निगम, वरिष्ठ पत्रकार 
समय से बड़ा बलवान कोई नहीं होता और न ही होगा, समय का चक्र जब चलता है, तो अच्छे-अच्छों के कन्ने कट जाते हैं। रोज करोड़ों कमाने वाले (पत्रकार बरखा दत्त के अनुसार) कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं सुप्रीम कोर्ट के जाने-माने वकील कपिल सिब्बल समय चक्र के लपेटे में आ जाएंगे, कभी नहीं सोंचा होगा। आज इस करोड़पति की ऐसी हालत हो गयी है, Tiranga चैनल को चलाने में असमर्थ हैं और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को आरोपित कर अपना दामन बचाने की कोशिश कर रहे हैं। यह वही कपिल सिब्बल जिन्होंने अपने वोट बैंक की खातिर कोर्ट में अयोध्या में राममन्दिर मुद्दे पर झूठ बोलकर अड़चने डालते रहे। 
जमाने की आवाज उठाने वाले पत्रकार अपने साथ होने वाले शोषण के खिलाफ कुछ नहीं कर पाते। यही वजह है कि मीडिया हाउस मनमाने ढंग से पत्रकारों को ‘हांकते’ हैं। इसमें दो राय नहीं कि पत्रकार जो जन समस्याओं को उजागर करता है, उसके साथ जब अन्याय होता है, कोई नहीं बोलता। सोवियत संघ के विभाजन होने पर Patriot बंद हो गया, National herald में महीनों कर्मचारियों को वेतन नहीं मिलता था, ऐसे अनेकों दैनिक और साप्ताहिक हैं, जहाँ कर्मचारियों पर होते अन्याय के विरुद्ध कोई नहीं बोलता, कहने को पत्रकारों की कितनी यूनियन बनी हुई है। वास्तव में पार्टियों ने अपने चमचों के खाने-पीने का एक मंच बना कर उन्हें पाल रहे हैं। कहने को खोजी पत्रकारों की भी कमी नहीं। लेकिन खोजी पत्रकार भी केवल पालन-पोषण करने वाले आकाओं के निर्देश पर ही हरकत में आते हैं, अन्यथा उन्हें तो इस बात का भी बोध नहीं होता कि बगल में क्या हो रहा है। यही कारण है कि आज पत्रकार नाम बदनाम हो गया है, जबकि दो दशक पूर्व तक पत्रकार तो क्या प्रेस में कार्यरत एक चपरासी तक से लोग डरते थे। जब से पत्रकार और मीडिया समूह नेताओं की मक्खनबाजी में व्यस्त हुए प्रेस नाम ही बदनाम हो गया। इस सच्चाई से शायद बरखा दत्त भी इंकार नहीं कर पाएँगी।  
कांग्रेस नेता और पूर्व मंत्री कपिल सिब्बल के न्यूज चैनल ‘तिरंगा’ में भी आजकल कुछ ऐसा ही हो रहा है। यहां लगभग 200 पत्रकारों को नौकरी से निकाला जा रहा है, वो भी नियमों  के तहत मिलने वाले वेतन के बिना। वरिष्ठ पत्रकार बरखा दत्त ने इस मुद्दे को अपनी आवाज दी है। सोशल मीडिया पर उन्होंने ‘तिरंगा’ में पत्रकारों की स्थिति और कपिल सिब्बल के तानाशाही रवैये को उजागर किया है।
बरखा ने इस संबंध में एक के बाद एक कई ट्वीट किये हैं और अन्य पत्रकारों से भी इस पर मुखर होने की अपील की है। उन्होंने लिखा है,‘कपिल सिब्बल और उनकी पत्नी के @NewsHtn में भयावह स्थिति, 200 से अधिक कर्मचारियों को नौकरी से निकाला जा रहा है और उन्हें 6 महीने का वेतन भी नहीं दिया जा रहा।’
बरखा ने आगे लिखा है, ‘तिरंगा से जुड़ने के लिए कई पत्रकारों ने अन्य ऑफरों को ठुकरा दिया था, क्योंकि कपिल सिब्बल ने आश्वासन दिया था कि न्यूजरूम को पेशेवर तरीके से चलाया जाएगा और पत्रकारों का कार्यकाल कम से कम 2 साल का होगा। लेकिन पति-पत्नी में से किसी ने भी स्टाफ से बात नहीं की, इसके बजाय लाइव प्रोग्रामिंग को 48 घंटों के लिए बंद कर दिया।’ बरखा दत्त ने कपिल और उनकी पत्नी के खिलाफ अपने दिल का सारा गुबार निकाल दिया। उन्होंने निशाना साधते हुए लिखा, ‘सिब्बल की पत्नी जो मीट फैक्ट्री चलाती हैं, वो बड़े ताव में अपने कर्मचारियों से कहती हैं कि मैं एक पैसा दिए बिना ही फैक्ट्री बंद कर दूंगी, फिर 6 महीने की सैलरी मांगने वाले ये पत्रकार कौन होते हैं।’ गौरतलब है कि बाकी पत्रकारों की तरह बरखा ने भी चैनल की लॉन्चिंग से पहले उसका दामन थमा था, लेकिन उनका कहना है कि वो जो कुछ सिब्बल के बारे में लिख रही हैं, उसका मकसद उन 200 कर्मचारियों को इंसाफ दिलाना है, जिन्हें नियमों को नजरअंदाज कर वेतन दिए बिना निकाला जा रहा है।
An appalling situation in @NewsHtn promoted by @KapilSibal & his wife, where more than 200 employees have had equipment confiscated and face sackings without even a 6 month pay out. Man who acts holier than though in public has treated journalists in a hideous way
अपनी लड़ाई वह अदालत में लड़ लेंगी। बरखा ने सिब्बल को विजय माल्या करार देते हुए कहा ‘सबसे ज्यादा शर्म की बात यह है कि हर रोज करोड़ों कमाने वाले सिब्बल 200 कर्मचारियों को नियमों के अनुसार 6 महीने या कम से कम 3 महीने का वेतन देने को भी तैयार नहीं हैं। वह 200 परिवारों की जिंदगी बर्बाद करने पर तुले हैं।’ बरखा ने अपने ट्वीट में यह भी कहा है कि सिब्बल और उनकी पत्नी का आरोप है कि चूंकि नरेंद्र मोदी ने उनका चैनल चलने नहीं दिया, इसलिए उन्हें मजबूरन कर्मचारियों को निकालना पड़ रहा है, जबकि ऐसा कुछ नहीं है। भारत सरकार की तरफ से इस तरह का कुछ नहीं किया गया है। कपिल और उनकी पत्नी ने कर्मचारियों से बात तक नहीं की, इसके बजाय दोनों छुट्टी मनाने लंदन चले गए। उनकी इस हरकत के चलते मैं उन्हें ‘माल्या’ कहने को मजबूर हूं। इतना ही नहीं बरखा ने मुताबिक, उन्हें इस मामले से पीछे हटने के लिए धमकियां भी मिल रही हैं।

Most people here, gave up other offers or left jobs on an assurance from @KapilSibal of a professionally run newsroom and a minimum tenure of 2 years. Neither husband nor wife have evenshowed up to talk to staff . But all live programming has been cancelled for 48 hrs..
Wife, who ran a meat factory, says loudly in the workplace, "I shut down factory withut giving a paisa to labour, who are these journalists to ask for 6 months salary." Her labour should have been paid better, but her disparaing remarks of journalists is sickening

What is most shameful is that @KapilSibal earns crores every day and wont pay 200 employees the industry norm of 6 months or at least 3 months pay out, ruining the lives of 200 plus people.
Am told @KapilSibal & wife wanted to use Modi as excuse to sack staff saying Modi didnt let channel run. But to be absolutely blunt. GOI has done nothing. Husband and wife have not faced staff, went on holiday to london, while shutting shop, prompting me to call him Mallya
अपने एक अन्य ट्वीट में उन्होंने लिखा है, ‘कर्मचारियों के अधिकारों के लिए लड़ने की वजह से मुझे धमकाया जा रहा है, मुझसे यह भी कहा जा रहा है कि मैं कपिल सिब्बल की माल्या से तुलना न करूं, लेकिन मैं पीछे नहीं हटूंगी। मैं ‘तिरंगा’ चैनल के स्टाफ के साथ खड़ी हूं और अंत तक उनका साथ देती रहूंगी।’ सिब्बल दंपती पर आरोपों की बात यहीं खत्म नहीं होती। बरखा दत्त का कहना है कि कपिल और उनकी पत्नी महिला कर्मचारियों को संबोधित करने के लिए अपशब्द का प्रयोग करते थे।

For fighting for rights of staff, I have been threatened with defamation and ordered to "withdraw my emails" comparing @KapilSibal to Mallya. I have refused. I support the staff of @NewsHtn and will help them fight this legally, with a criminal case and complain
Worst of all, @KapilSibal & wife have referred to female staffers as "Kutiya"or Bitch. This is a fit case for NCW @sharmarekha & we will place signed affidavits to prove our case.

There has been more than ocassion when @KapilSibal has embarrassed himself. But a man who earns in the crores, duping and cheating journalists with a 2 year guarantee & then sacking them without the decency to even meet them, and then refusing to pay their dues- truly revolting
I would urge friends in the media fraternity and everyone with a voice to tweet @KapilSibal till he pays employees what is due to them instead of wriggling out with one month pay out and intimidating staff with threats of defamation & other Vakeel type tricks
बरखा ने सभी पत्रकारों से इस विषय में अपनी आवाज बुलंद करने की अपील करते हुए कहा, ‘मैं अपने सभी पत्रकार दोस्तों से कहना चाहूंगी कि वो कपिल सिब्बल को तब तक ट्वीट करना जारी रखें, जब तक कि वो सभी कर्मचारियों को नियमानुसार वेतन नहीं दे देते और कर्मचारियों को धमकाने से बाज नहीं आते। कई पत्रकारों ने बरखा को आश्वासन दिया है कि वो इस लड़ाई को अंजाम तक पहुंचाने में उनका साथ देंगे। अब देखने वाली बात यह है कि क्या एडिटर्स गिल्ड और पत्रकार संघ जैसी संस्थाएं पत्रकारों के हक के लिए आगे आती हैं? 
सच्चाई यह है कि कांग्रेस ने जिस तरह अपने कार्यकाल में मीडिया और मीडिया संगठनों का दुरूपयोग कर सबकी बोलती बंद कर रखी है। भारतीय मज़दूर संघ को छोड़, अन्य कोई संगठन कर्मचारियों के हित के लिए नहीं खड़ा नहीं होगा। क्योंकि एडिटर्स गिल्ड हो या अन्य पत्रकार संघ सब जगह अभी कांग्रेस समर्पित लोग विराजमान हैं। 
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आपको जान कर हैरानी नहीं होनी चाइये की बीफ के निर्यातको में,कांग्रेस के नेताओ का नाम बड़े निर्यातको में आता है यही का....

कपिल अपने चैनल के कर्मचारियों का दमन कर रहे हैं, कोई नई बात नहीं। नेशनल हेराल्ड में क्या हुआ, क्यों बंद हुआ? राजीव गाँधी के निधन के बाद से परिवार तो क्या पार्टी ने जवाहर लाल नेहरू की इस विरासत को सुचारु रूप से नहीं संजोया, केवल संपत्ति से धन अर्जित करने में अपने आपको व्यस्त रखा। 

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