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साभार :ANI |
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मार्च 3, 2021 को विधानसभा को संबोधित करते हुए हाथरस हत्याकांड पर समाजवादी पार्टी को घेरा। उन्होंने कहा कि हाथरस में हुए दुर्भाग्यपूर्ण घटनाक्रम में आरोपित सपा का निकला। आखिर किसी भी अपराध में शामिल हर अपराधी का संबंध सपा से ही क्यों होता है। उन्होंने कहा कि हाथरस में आज सपा की एक रैली है जिसके पोस्टर उसी आरोपित द्वारा लगाए गए हैं जो कि हाथरस हत्याकांड में आरोपित है।
इसके पहले, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाथरस हत्याकांड में आरोपितों के खिलाफ रासुका के तहत कार्रवाई करने का आदेश दिया। इस मामले को लेकर मार्च 2, 2021 को सपा सुप्रीमो व पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर निशाना साधा था।
Y'day's unfortunate incident in Hathras has brought the Samajwadi Party to light again. Doesn't SP have an association with the accused? Why is there an association between SP & every criminal? There is SP rally in Hathras today& posters for rally put by the accused:CM Adityanath pic.twitter.com/Oj0paoHGjk
— ANI UP (@ANINewsUP) March 3, 2021
‘रस्सी जल गई लेकिन बल नहीं गए’
— Pradeep Bhandari(प्रदीप भंडारी) (@pradip103) March 2, 2021
झूठ पकड़े जाने पर पत्रकार का जवाब देना तो छोड़िए उसे बिकाऊ बता रहें है। नेता जी इस देश में आज भी कई पत्रकार स्वतंत्र है। हर कोई 2 BHK लेकर बिकने वाला नहीं होता। pic.twitter.com/HMLncs8jRM
हाथरस के सासनी क्षेत्र में बेटी से छेड़छाड़ करने वालों के खिलाफ लड़की के पिता ने स्थानीय पुलिस में केस दर्ज कराया था। एक महीने बाद ही उसे जमानत मिल गई थी। इस मामले में आरोपित पक्ष लगातार दूसरे पक्ष को धमकी दे रहा था। मार्च 1 को लड़की के पिता को गोलियों से छलनी कर दिया था।
पुलिस के मुताबिक, सपा नेता गौरव शर्मा अपने तीन साथियों ललित, रोहिताश और निखिल शर्मा के साथ मार्च 1 को दोपहर 3:30 बजे के करीब 50 वर्षीय मृतक के खेत पर पहुँचा और गाली गलौच करने लगा। इसके बाद उसने उस पर गोलियाँ बरसानी शुरू कर दी। खाना लेकर खेत पर पहुँची पत्नी और बेटी ने उन्हें घायल अवस्था में अस्पताल पहुँचाया, जहाँ उनकी मौत हो गई।
अवलोकन करें:-
मृतक की बेटी ने पुलिस को शिकायत दी कि गौरव शर्मा उसके साथ काफी समय से बदतमीजी करता था। जून 2018 में गौरव शर्मा के खिलाफ छेड़छाड़ की शिकायत पर पुलिस ने उसे गिरफ्तार किया था। लेकिन स्थानीय अदालत ने एक महीने बाद ही गौरव शर्मा को जमानत पर रिहा कर दिया। गौरव शर्मा उसके बाद से ही उसके परिवार को मामला वापस लेने के लिए धमकाता था।
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