शमशान घाट पर प्रोपैगैंडा चलाने के लिए जगह मिल सकती है, लेकिन बाप के अंतिम संस्कार पर पुलिस की मदद?

                 शमशान घाट पर प्रोपैगैंडा चलाने के लिए जगह मिल सकती है, लेकिन बाप की मौत पर पुलिस की मदद?
पत्रकार बरखा दत्त को अप्रैल 29, 2021 को उनके पिता एसपी दत्त के निधन की दुखद सूचना मिली। बरखा दत्त ने ट्वीट करके इसकी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि कोविड पॉजिटिव पाए जाने के बाद उनके पिता का 
निधन हो गया। एयर इंडिया के पूर्व अधिकारी (एसपी दत्त) ने अप्रैल 27, 2021 को कोरोना वायरस संक्रमण के कारण दम तोड़ दिया

देश इस समय कोरोना वायरस की दूसरी लहर से जूझ रहा है। इस विकट परिस्थिति में बरखा दत्त सड़क पर निकल कर रिपोर्टिंग कर रही हैं। और इसी बीच बरखा दत्त ने अपने पिता को खो दिया।

अपने पिता की मौत के कुछ दिनों बाद, सीएनएन के किम ब्रूनहुबर के साथ एक इंटरव्यू में बरखा दत्त ने कहा, “मेरे पिता ने मुझसे अंतिम शब्द कहा था कि मुझे घुटन हो रही है। कृपया मेरा इलाज करें और मैंने अपनी तरफ से पूरी कोशिश की। जो प्राइवेट एंबुलेंस उन्हें लेकर हॉस्पिटल गई, उसमें लगा ऑक्सीजन सिलेंडर काम नहीं कर रहा था।”

बरखा दत्त ने कहा, “उन्हें लाने में देरी हो गई, क्योंकि शहरों में अभी भी एंबुलेंस के लिए कोई ग्रीन कॉरिडोर नहीं है। जब तक हम अस्पताल पहुँचे, उनका ऑक्सीजन स्तर गिर गया था क्योंकि एंबुलेंस में लगा ऑक्सीजन (सिलेंडर) फेल हो चुका था। उन्हें इंटेनसिव केयर यूनिट (ICU) में ले जाना पड़ा। इसके बाद वो फिर वापस नहीं आए।”

बरखा दत्त ने आगे कहा, “इस घटना के 48 घंटे भी नहीं हुए थे, जब हम उनका अंतिम संस्कार करने के लिए शमशान घाट गए। यहाँ पर जगह नहीं थी। कई परिवारों के बीच लड़ाइयाँ हो रही थीं। मुझे मेरे पिता का अंतिम संस्कार करने के लिए पुलिस को बुलाना पड़ा। ऐसी मुश्किल घड़ी में ये सब करना काफी कष्टप्रद रहा।”

दत्त ने कहा, “मैं इसलिए बोल रही हूँ क्योंकि मुझे इस बात का एहसास है कि इस क्षति के बावजूद मैं ज्यादातर भारतीयों की तुलना में भाग्यशाली हूँ। आज, मैं भारत के अनाथों के बारे में सोच रही हूँ।” उन्होंने यह भी कहा कि अस्पतालों के बाहर इंतजार कर रहे परिवारों या मृतक का अंतिम संस्कार करने की स्थिति को देख कर उनका दिल टूट गया है। दत्त ने यह भी दावा किया कि कोरोना वायरस मरीजों में से एक के भाई ने उन्हें बताया कि परिवार को भगवान के भरोसे पर छोड़ दिया गया है।

एम्बुलेंस ड्राइवर सोनू का स्पष्टीकरण 

बरखा दत्त द्वारा किए गए खुलासे के बाद, हमें बताया गया है कि एम्बुलेंस के ड्राइवर और केयरटेकर को अपने मालिक की तरफ से काफी कुछ सुनना पड़ा। जबकि ड्राइवर ने समझाया था कि जब भी किसी की मौत होती है, तो उसे दुख होता है। उन्होंने यह भी कहा कि शायद संकट के समय किए गए दावे पूरी तरह से सच नहीं होंगे। इसके बाद, एम्बुलेंस ड्राइवर और उसके मालिक ने इस आरोप से इनकार किया कि वाहन में ऑक्सीजन सिलेंडर काम नहीं कर रहा था।

एम्बुलेंस चालक सोनू ने कहा कि ऑक्सीजन सिलेंडर भरा हुआ था और बरखा दत्त ने खुद ही सप्लाय की जाँच की थी। ऑडियो बातचीत को पल्स द्वारा प्रकाशित किया गया था। उन्होंने कहा कि पत्रकार ने ऑक्सीजन की आपूर्ति के बारे में एडवांस में पूछताछ की थी। उनके अनुसार, उन्होंने अपने पिता को अस्पताल पहुँचाने से पहले मास्क और ऑक्सीजन के प्रवाह दोनों की जाँच की थी।

सोनू ने दावा किया, “उन्होंने यात्रा के दौरान मुझे बाधित किया और बार-बार मुझसे ऑक्सीजन की आपूर्ति की जाँच करने के लिए कहा। मैंने उन्हें आश्वासन दिया कि यह ठीक काम कर रहा है। हम बिना किसी समस्या के अस्पताल पहुँचे थे। हमारे साथ उनके दो वाहन भी थे। मरीज का केयरटेकर भी उनके साथ था। मैं भी 15-20 मिनट के लिए आपातकालीन विभाग के बाहर खड़ा था। मरीज बिना किसी परेशानी के एम्बुलेंस से नीचे उतर गया।”

उसने दोहराया, “मैंने उनके घर की पहली मंजिल से एम्बुलेंस तक मरीज को व्यक्तिगत रूप से पहुँचाया था। वह झूठ क्यों बोल रही है? मैंने उन्हें दिखाया था कि मास्क, ऑक्सीजन सिलेंडर ठीक से काम कर रहा था। बरखा दत्त के दो ड्राइवरों और एक सुरक्षा गार्ड सहित कई गवाह थे। मैं झूठ नहीं बोल रहा हूँ।” सोनू ने आगे कहा कि एम्बुलेंस में ऑक्सीजन सिलेंडर गायब होने के दावे झूठे हैं और उन्होंने पत्रकार को इसका डेमो भी दिया था।

एंबुलेंस के ड्राइवर ने कहा कि मरीज (बरखा के पिता) के एंबुलेंस में चढ़ने से पहले बरखा ने एंबुलेंस में ऑक्सीजन सिलेंडर की जाँच करने के लिए कहा। ड्राइवर का दावा है कि बरखा ने उससे पूछा कि बड़ा सिलेंडर है या छोटा? इतना ही नहीं, बरखा ने उससे यह सवाल भी किया कि छोटी एंबुलेंस में बड़ा ऑक्सीजन सिलेंडर क्यों है? बरखा द्वारा जाँच कर लेने के बाद ड्राइवर ने उनसे पूछा कि क्या उन्होंने मरीज के लिए ऑक्सीजन मास्क रखा है? इस पर बरखा ने कहा कि क्यों उसके पास नहीं है? इसका जवाब देते हुए ड्राइवर ने कहा कि उसके पास एक है लेकिन ज्यादातर मरीज अपना ऑक्सीजन मास्क इस्तेमाल करना पसंद करते हैं। मगर यदि उनके पास नहीं है तो एंबुलेंस में एक है।

सोनू ने आगे कहा कि हॉस्पिटल जाने के दौरान एंबुलेंस को बीच में रोक कर फिर से सिलेंडर के सुचारू रूप से काम करने पर सवाल उठाया गया था। उस समय ड्राइवर ने दिखाया था कि ऑक्सीजन सिलेंडर वास्तव में काम कर रहा था। उसने यह भी दावा किया कि बरखा दत्त झूठ बोल रही थीं और अगर वह सच कह रहीं, तो उन्होंने एक फोटो खींची थी।

पल्स ने बताया कि उन्हें सोनू और बरखा के बीच बातचीत का ऑडियो क्लिप मिला था। बरखा दत्त ने CNN से कहा कि ऑक्सीजन न मिलने की वजह से उनके पिता की हालत गंभीर हो गई, जबकि एंबुलेंस ड्राइवर ने दोहराया कि एंबुलेंस से उतरते वक्त मरीज सामान्य था। इसके साथ ही सोनू ने स्पष्ट रूप से उल्लेख किया कि बरखा दत्त ने अपने पिता के आवास से अस्पताल तक की यात्रा से पहले ऑक्सीजन की आपूर्ति और मास्क की कार्यप्रणाली की स्वयं जाँच की थी।

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