मध्य प्रदेश : कांग्रेस की हिंदू विरोधी साजिश, उमंग सिंघार ने जनजातीय समुदाय को बताया हिंदुओं से अलग; सोनिया गाँधी को खुश करने के लिए ‘क्रॉस’ लटकाने का पाप

       कॉन्ग्रेस नेता उमंग सिंघार ने कहा कि जनजातीय समाज हिंदू नहीं है (साभार: Facebook-umang singhar)
मध्य प्रदेश के नेता प्रतिपक्ष और कांग्रेस नेता उमंग सिंघार ने विवादित बयान दिया है। सिंघार ने कहा कि जनजातीय समाज हिंदू नहीं है। अब इस बयान पर राजनीतिक हलचल तेज हो गई। बीजेपी ने भी इस बयान पर कांग्रेस को घेरा है।

दरअसल, नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने छिंदवाड़ा में मध्य प्रदेश जनजातीय समाज विकास परिषद की बैठक के दौरान यह बयान दिया। उन्होंने कहा, “मैं गर्व से कहता हूँ कि हम जनजातीय हैं, हिंदू नहीं। मैं यह बात कई सालों से कहता आ रहा हूँ।”

उमंग सिंघार ने आगे कहा, “शबरी, जिन्होंने भगवान राम को बचा हुआ बेर खिलाया था, वह भी जानजातीय समुदाय से थे। जो आदिकाल से वास कर रहे हैं, वही जनजातीय हैं। हमें हमारे समाज को अपनी पहचान दिलानी होगी। चाहे सरकार कोई भी हो, उसे जनजातीय समाज का मान-सम्मान बनाए रखना होगा।”

सीएम मोहन यादव ने कांग्रेस पर साधा निशाना

सिंघार के इस बयान पर प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने कहा कि कांग्रेस हमेशा हिंदू और हिंदुत्व के विरोध में ही काम करती है। मुख्यमंत्री ने कहा, “राहुल गाँधी ने हिंदुत्व का मजाक बनाया। अब उमंग सिंघार कह रहे हैं आदिवासियों में हिंदुत्व नहीं है।”

सीएम ने आगे कहा, “कमाल हो गया, शर्म आती है। ऐसा नहीं होना चाहिए। राजनीति जरूर करो लेकिन हिंदुत्व पर प्रश्न उठाना, ये जनता माफ नहीं करेगी।”

आदिवासियों के गले में क्रॉस लटकाने का पाप मत करो: BJP नेता

उमंग सिंघार के ‘जनजातीय समाज हिंदू नहीं’ वाले बयान को लेकर बीजेपी विधायक रामेश्वर शर्मा ने कहा, “जनजातीय समाज के गले में क्रॉस लटकाने और सोनिया गाँधी को खुश करने के लिए उमंग जी पाप मत करो। हिंदुस्तान आपसे नाराज हो जाएगा। जनजातीय हमारी सभ्यता के ध्वजवाहक हैं।”

बीजेपी विधायक ने आगे कहा, “आजादी की लड़ाई में लोहा लेने वाला आदिवासी समाज, जय जोहार का जयकारा लगाने वाला समाज, बड़े देव को पूजने वाला आदिवासी समाज हमारी आत्मा है।”

मध्य प्रदेश में जनजातीय समाज धर्मांतरण को मजबूर

मध्य प्रदेश में जनजातीय समाज धर्म परिवर्तन की समस्या से जूझ रहा है, जहाँ मुख्य रूप से ईसाई मिशनरी सामाजिक सेवाओं, शिक्षा और आर्थिक सहायता के बहाने धर्मांतरण को बढ़ावा देते हैं। ऐसे कई मामले अब तक सामने आए हैं।

दमोह जिले के हटा ब्लॉक के सूरजपुरा गाँव में ईसाई मिशनरियों ने गाँव के कई लोगों को बहकाकर धर्म परिवर्तन करवा दिया। यहाँ गाँव के कई परिवारों ने धर्म बदलकर ईसाई नाम रख लिए थे, जिसके बाद गाँव के अन्य लोगों ने इनका विरोध किया था।

इससे सटे छतरपुर जिले के भारतीपुरा गाँव में भी ऐसा ही मामला सामने आया था। यहाँ भील समाज के लोगों को पैसों का लालच देकर ईसाई धर्म में परिवर्तित किया गया। गाँव के 8 परिवारों ने धर्म परिवर्तन कर लिया।

गुना जिले में दो ईसाई दंपति रुठियाई क्षेत्र में प्रार्थना सभाएँ आयोजित कर लोगों का ब्रेनवॉश करते पकड़े गए। यहाँ लोगों को धर्म परिवर्तन का दबाव बनाया जा रहा था। हिंदू संगठन की पुलिस शिकायत के बाद मामला उजागर हुआ था।

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